Amit Bhatt, Dehradun: मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण (एमडीडीए) के एक अभियंता को ब्लैकमेल करने की बात सामने आ रही है। इस मामले की एक ऑडियो क्लिप भी सामने आई है। जिसमें ब्लैकमेल करने वाला व्यक्ति इंजीनयर से पैसे की मांग कर रहा है। साथ ही कह रहा है कि हमारा आदमी आपके पास आया था, आपने कुछ नहीं किया। आपने शर्मिंदा करा दिया हमें। इसके अलावा वह धमकी भरे अंदाज में कह रहा है कि आप जल्दी काम कर दो, नहीं तो वह व्यक्ति सचिवालय जा रहा है। बताया जा रहा है कि ब्लैकमेलर गैंग 10 लाख रुपये की मांग कर रहा है।
इस बातचीत में सचिवालय का नाम इसलिए लिया जा रहा है क्योंकि ब्लैकमेलर गैंग संबंधित इंजीनियर के विरुद्ध निरंतर फर्जी खबरें चलवा रहा है। इसके माध्यम से इंजीनयर पर दबाव बनाया जा रहा है। नहीं तो सचिवालय में शिकायत कर दी जाएगी। संभवतः इस गैंग की मदद सचिवालय या अन्य जगह बैठे कुछ वरिष्ठ अधिकारी भी कर रहे हैं। कुछ बाहरी स्तर से एमडीडीए की मशीनरी को भी काबू करने के प्रयास किए जा रहे हैं। हालांकि, वर्तमान एमडीडीए उपाध्यक्ष बंशीधर तिवारी बेलाग और बिना प्रभावित हुए अपना काम कर रहे हैं। शायद वह यह जानते हैं कि कौन किस मंशा के साथ क्या करवाना चाहता है।
एमडीडीए इंजीनियर के विरुद्ध ब्लैकमेलर गैंग जब फर्जी खबरें चलवा रहा है तो इनमें एमडीडीए उपाध्यक्ष को भी बदनाम किया जा रहा है। इस काम में एमडीडीए या आवास विभाग के कुछ अन्य इंजीनयर भी गैंग का साथ दे रहे हैं। यहां तक कि लोगों के भवनों के नक्शों की जानकारी भी बिना भवन स्वामी की सहमति के गैंग के सदस्यों को दी जा रही है। ऐसे ही एक मामले में भवन स्वामी ने अपने नक्शे की जानकारी सार्वजनिक किए जाने पर आपत्ति जताते हुए उपाध्यक्ष को मामले में एफआईआर दर्ज कराने को पत्र लिखा है। ऐसे अभियंताओं और व्यक्तियों को चिह्नित किए जाने की भी जरूरत है।
किसकी शह पर एमडीडीए में पनाह ढूंढ रहे गलत आचरण वाले इंजीनियर
कुछ समय पहले हरिद्वार रुड़की विकास प्राधिकरण के सहायक अभियंता पंकज पाठक को तत्कालीन उपाध्यक्ष और ईमानदार छवि के अधिकारी दीपक रावत ने कड़ा पत्र लिखा था। जिसमें कहा गया था कि पंकज पाठक अपने आचरण में सुधार नहीं ला रहे हैं। लिहाजा, उन्हें तत्काल उनके मूल विभाग सिंचाई विभाग को वापस भेजा जाता है। हालांकि, इसके बाद पंकज पाठक को एमडीडीए में तैनात कर दिया जाता है। लेकिन, अपनी कार्यप्रणाली को जारी रखने वाले अभियंता को अब टिहरी विकास प्राधिकरण में अटैच कर दिया गया है।
अपर मुख्य सचिव आवास को लेना होगा संज्ञान
कुछ चुनिंदा इंजीनियरों पर दिखाई जा रही मेहरबानी को लेकर अपर मुख्य सचिव आवास को संज्ञान लेना चाहिए। उन्हें देखना चाहिए कि किस तरह दूसरे विभागों से आवास विभाग में मोर्चा जमाने वाले अभियंता गुल खिला रहे हैं। कौन बड़े अधिकारी हैं, जो इस मामले में दखल दे रहे हैं। साथ ही इस बात का संज्ञान लेने की जरूरत भी है कि ब्लैकमेलर गैंग किसकी शह पर फूल-फल रहा है।
ब्लैकमेलिंग पर विधिक राय ले रहे अभियंता
बताया जा रहा है कि जिस अभियंता (इंजीनियर) को ब्लैकमेल किए जाने का ऑडियो सामने आया है, वह इस मामले में विधिक राय ले रहे हैं। इस तरह की बात भी सामने आई है कि कुछ संगठन आवास विभाग में चल रही धींगा-मुश्ती को लेकर हाई कोर्ट याचिका दायर करने की तैयारी कर रहे हैं। क्योंकि, बीते कुछ माह में गैंग से जुड़े अभियंताओं ने न सिर्फ उत्तराखंड मूल के अभियंताओं के विरुद्ध दुष्प्रचार अभियान चलवाया, बल्कि ऐसे संगठनों को भी कृत्रिम विरोध के लिए उतारा जा रहा है, जिनका उत्तराखंड के सरोकारों से कोई वास्ता भी नहीं है।