पत्नी को इतना सताया कि लगा लिया मौत को गले, कोर्ट ने पति को ठहराया दोषी
कोरोनाकाल में पत्नी झूल गई थी फंदे से, पति को मिली 05 साल कठोर कारावास की सजा
Amit Bhatt, Dehradun: पति पत्नी के संबंध को सात जन्मों का बंधन माना जाता है। फिर ऐसा क्या होता है कि दो जिस्म एक जान कहे जाने वाले रिश्ते में जहर घुलने लगता है। जिसकी अति हो जाने पर सात जन्मों का संबंध एक दूसरे की मौत का कारण बन जाता है। उत्तराखंड के सुदूर चमोली जिले में एक ऐसा ही रिश्ता तब दम तोड़ गया, जब पति की प्रताड़ना से आजिज होकर पत्नी मौत के फंदे पर झूल गई।
यह मामला चमोली के नंदानगर के लुंतरा गांव का है। जहां 25 अप्रैल 2020 में सुमन पत्नी विजय कुमार की मौत हो गई । उसने फंदे पर झूलकर अपनी जीवनलीला समाप्त कर ली। सुमन के पिता रघुबीर लाल ने राजस्व पुलिस में बेटी के पति विजय कुमार पर दहेज उत्पीड़न के लिए हत्या करने और घरेलू उत्पीड़न के मामले में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। मामले की सुनवाई जिला एवं सत्र न्यायाधीश बिंध्याचल सिंह की अदालत में की गई। मामले में 14 गवाह पेश किए गए।
अदालत ने गवाहों व मेडिकल रिपोर्ट के आधार पर पाया कि सुमन की मौत फांसी लगाने से हुई। अदालत ने आरोपी विजय कुमार को आत्महत्या के लिए मजबूर करने का दोषी पाया। हालांकि, घरेलू हिंसा, दहेज के लिए हत्या, दहेज प्रतिषेध के मामले में उसे बरी कर दिया। अदालत ने आरोपी विजय कुमार को धारा 306 के तहत आत्महत्या के लिए मजबूर करने के मामले में 05 साल कठोर कारावास व 5000 रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई। अर्थदंड अदा न करने पर 01 माह अतिरिक्त साधारण कारावास की सजा भुगतनी होगी।