भूमाफिया के कब्जों पर कार्रवाई में दून नगर निगम ने खड़े किए हाथ
राजनीतिक दबाव के चलते निगम की कार्रवाई पड़ी सुस्त
देहरादून : सरकारी भूमि को खुर्दबुर्द करने का खेल खुलेआम चल रहा है। भू-माफिया शहर के विभिन्न क्षेत्रों में सरकारी भूमि पर कब्जा करने के साथ ही खरीद-फरोख्त में जुटे हैं। हालांकि, अतिक्रमण के विरुद्ध निगम लगातार अभियान चलाकर कार्रवाई तो कर रहा है, लेकिन यह कार्रवाई धरातल पर नाकाफी साबित हो रही है। अतिक्रमणकारियों को राजनीतिक संरक्षण के चलते निगम आधा-अधूरा अतिक्रमण ही तोड़ पा रहा है। धर्मपुर विधायक विनोद चमोली ने भी कार्रवाई पर सवाल उठाए हैं। विधायक ने कमेटी गठित कर भूमि का परीक्षण कराने और कब्जाधारियों पर कड़ी कार्रवाई की मांग उठाई है। भू-माफिया की ओर से नगर निगम में शामिल ग्राम समाज, वन विभाग और सिंचाई विभाग की जमीन पर धड़ल्ले से अतिक्रमण किया जा रहा है। यही नहीं कैंट क्षेत्र की भूमि भी माफिया की नजर से नहीं बच पाई है। हालांकि, ज्यादातर क्षेत्रों में राजनीतिक पृष्ठभूमि वाले लोग जमीनें खुर्द-बुर्द करने में जुटे हैं। दौड़वाला का ही उदाहरण ले लें तो यहां एक नेता ने निजी जमीन की आड़ में सरकारी भूमि पर कब्जाकर प्लाटिंग कर दी। नेता की दबंगई के आगे नगर निगम जानकर भी कार्रवाई से बच रहा है। वहीं, मोथरोवाला और दौड़वाला के बीच एक और नेता ने पर कब्जा कर प्लाटिंग की है, लेकिन निगम सुध लेने को तैयार नहीं। आरोप है कि नगर निगम की भूमि पर दो-तीन लाख रुपये के प्लाट बेचे जा रहे हैं और कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है। दौड़वाला, नौका, इंद्रपुरी फार्म, डकोटा समेत आसपास के क्षेत्र में सैकड़ों बीघा सरकारी भूमि खुर्द-बुर्द हो रही है। जबकि, इस प्रकार की गतिविधि में लिप्त पाए जाने वाले व्यक्ति को किसी भी चुनाव में प्रतिभाग करने का अधिकार नहीं देने का प्रविधान है।
नगर निगम, स्थानीय प्रशासन, राजस्व विभाग व वन विभाग सरकारी भूमि पर हो रहे कब्जों पर कार्रवाई नहीं कर रहे हैं। 20-25 साल से पट्टे की जमीनों पर बसे व्यक्तियों को नोटिस दिए जा रहे हैं, लेकिन नए अतिक्रमण पर कोई कार्रवाई नहीं हो रही है। जबकि, भूमाफिया लगातार सरकारी भूमि को खुर्द-बुर्द कर रहे हैं। इस पर एक उच्च स्तरीय जांच समिति गठित की जाए, ताकि भू-माफिया पर नकेल कसी जा सके और दोषी अधिकारी-कर्मचारियों को दंडित किया जा सके।
-विनोद चमोली, विधायक धर्मपुर