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गैंग रेप पीड़िता गर्भवती, उम्र महज 14 साल और दरिंदे बनाते रहे हवश का शिकार

आईएसबीटी में बस में गैंग रेप का शिकार हुई 14 साल की किशोरी के गर्भवती होने से मचा हड़कंप, गर्भपात के लिए लिया जा रहा परामर्श

Amit Bhatt, Dehradun: यह दर्दनाक कहानी उस 14 साल की किशोरी की है, जिसके साथ देहरादून आईएसबीटी पर 12 अगस्त की रात को खड़ी बस के भीतर सामूहिक दुष्कर्म किया गया। किशोरी दिमागी रूप से कमजोर है और उसके साथ हुई इस हैवानियत को जुबां पर लाने के लिए भी देहरादून की बाल कल्याण समिति को कई दौर की काउंसलिंग करनी पड़ी। दून पुलिस के हाथ सामूहिक दुष्कर्म के आरोपियों की गर्दन तक पहुंचे ही थे कि एक और खुलासे ने सिस्टम को फिर से सकते में डाल दिया है। गैंग रेप पीड़िता किशोरी गर्भवती पाई गई है। उसकी उम्र और दिमागी स्थिति इतनी कम है कि उसे यह समझ ही नहीं आ रहा है कि नियति और दरिंदों की नीयत ने उसे जिंदगी के किस मोड़ पर लाकर खड़ा कर दिया है।

सामूहिक दुष्कर्म की पीड़िता को आईएसबीटी से रेस्क्यू किए जाने के बाद से उसे बालिका निकेतन में रखा गया है। उसे ब्लीडिंग होने के बाद राजकीय जिला अस्पताल (कोरोनेशन) लाया गया था। जहां उसके गर्भवती होने की पुष्टि से हड़कंप मच गया। उसकी स्थिति को देखते हुए दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल में रेफर किया गया। जिला चिकित्सालय की वरिष्ठ स्त्री एवं प्रसूति रोग विशेषज्ञ ने किशोरी की हालत पर मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) को पत्र लिखा। हालांकि, मुख्य चिकित्सा अधिकारी संजय जैन अभी इस मामले में कुछ भी बोलने से बच रहे हैं। पुलिस और बाल कल्याण समिति समेत जिला प्रोबेशन अधिकारी आदि के स्तर से भी बयान जारी करने में विशेष एहतियात बरती जा रही है।

सीएमओ को भेजे गए पत्र में यह बात सामने आई कि 14 वर्षीय किशोरी के गर्भपात कराने को लेकर भी परामर्श किया जा रहा है। क्योंकि, उल्लेख किया गया है कि किशोरी की उम्र इतनी कम है कि यह गर्भावस्था उसके लिए जानलेवा साबित हो सकती है। साथ ही उसके गर्भपात को लेकर भी अलग तरह की चुनौती बताई गई है। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि किशोरी ‘विशेष’ मानसिक स्थिति के कारण यह समझ नहीं पा रही है कि वह किस स्थिति में पहुंच गई है। कुल मिलाकर पत्र किशोरी के स्वास्थ्य को लेकर चिंता बढ़ाने वाला भी है।

आईएसबीटी पर गैंग रेप से पहले भी हैवानियत का शिकार होती रही किशोरी
गैंग रेप पीड़िता 14 वर्षीय किशोरी की गर्भावस्था की स्थिति को देखते हुए चिकित्सक मान रहे हैं कि आईएसबीटी की घटना उसके लिए पहली नहीं थी। आशंका है कि वह पहले से ही दरिंदगी का शिकार हो रही थी। बाल कल्याण समिति, महिला आयोग और पुलिस आदि में दर्ज कराए गए बयान में भी किशोरी ने कहा कि उसके साथ मुरादाबाद स्थित गांव से ही हैवानियत की जा रही थी। पुलिस सूत्रों के मुताबिक किशोरी ने बयान में अपने किसी रिश्तेदार का नाम लिया है। संभवतः एसआईटी ने उस व्यक्ति के विरुद्ध मुकदमा दर्ज करने लिए संबंधित क्षेत्र की पुलिस से संपर्क किया है। बहुत संभव है कि किशोरी के साथ रेप में कई और नाम शामिल हो सकते हैं।

डीएनए जांच कराएगी पुलिस, न्याय के लिए हरसंभव कोशिश
किशोरी के साथ 12 अगस्त की रात को आईएसबीटी पर बस में रेप और अब उसके गर्भवती होने के बाद पुलिस की जांच कई दिशा में आगे बढ़ रही है। क्योंकि, किशोरी के साथ मुरादाबाद से दरिंदगी किए जाने की बाते भी सामने आई हैं। ऐसे में पुलिस कार्रवाई को पुख्ता करने के लिए सभी आरोपियों की डीएनए जांच करा सकती है। ताकि किशोरी को न्याय दिलाने और दोषियों को सख्त से सख्त सजा दिलाने में कोई कसर बाकी न रह जाए।

आईएसबीटी में किशोरी के साथ गैंग रेप के आरोपी पुलिस गिरफ्त में।

रिमांड में लिए गए आरोपी जेल भेजे गए, कपड़े और कंबल बरामद
पुलिस कस्टडी रिमांड पर लिए गए सामूहिक दुष्कर्म के आरोपियों (परिवहन निगम के नियमित/अनुबंधित कर्मचारी) को अवधि पूरी हो जाने के बाद वापस सुद्धोवाला जेल में दाखिल करा दिया गया है। इस दौरान पुलिस ने उनसे अपराध की कड़ी को जोड़ा। साथ ही घटना के समय पहने गए कपड़ों और बस में नीचे बिछाए गए कंबल को बरामद कर लिया गया है। जिनकी फोरेंसिक जांच कराकर अधिक से अधिक साक्ष्यों को प्राप्त करने का प्रयास किया जाएगा।

यह थी दून में गैंग रेप की घटना, अब तक 05 आरोपी, जुड़ सकते हैं और नाम
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह ने बताया कि मूल रूप से मुरादाबाद की रहने वाली किशोरी की पटियाला में रिश्तेदार रहती है। किशोरी रिश्तेदार से मिलने जा रही थी, लेकिन मानसिक रूप से कमजोर होने के कारण वह पटियाला की बजाए दिल्ली की बस में बैठ गई। यहां से किशोरी दिल्ली के कश्मीरी गेट बस अड्डे पर उत्तराखंड परिवहन निगम देहरादून डिपो (ग्रामीण) की बस संख्या यूके-07पीए-5299 में सवार हो गई। किशोरी की स्थिति को भांपते हुए बस चालक धर्मेंद्र कुमार निवासी ग्राम बंजारावाला ग्रांट थाना बुग्गावाला हरिद्वार की नीयत खराब हो गई। उसने किशोरी से कहा कि वह देहरादून से उसे पटियाला की बस में बैठा देगा।

रात करीब ढाई बजे बस देहरादून आइएसबीटी पहुंची
उन्होंने बताया कि बस देर रात करीब ढाई बजे देहरादून आईएसबीटी पहुंची। किशोरी की मानसिक स्थिति ठीक न होने का फायदा उठाकर आरोपित ने उसके साथ बस में ही दुष्कर्म किया। इसके बाद इसी बस के परिचालक देवेंद्र निवासी चूडियाला भगवानपुर हरिद्वार ने भी किशोरी के साथ दुष्कर्म किया। इसकी भनक जब दूसरी बस के चालक रवि कुमार निवासी ग्राम सिला थाना नवाबगंज, जिला फर्रुखाबाद व राजपाल निवासी बंजारावाला ग्रांट थाना बुग्गावाला हरिद्वार को लगी तो वह भी बस में चढ़ा और दोनों ने किशोरी को हवश का शिकार बनाया। आरोपित बस परिचालक देवेंद्र कैश काउंटर पर कैश जमा करने गया तो वहां उसे कैशियर रोडवेज राजेश कुमार निवासी माजरा, पटेलनगर मिला। देवेंद्र ने उसे भी बस में भेजा और राजेश कुमार ने भी किशोरी के साथ दुष्कर्म किया।

एमडीडीए के 02 सुरक्षा गार्ड ने दिखाई सक्रियता और खुल गया मामला
12 अगस्त की देर रात ड्यूटी पर तैनात दो सुरक्षा गार्ड ने जब किशोरी को प्लेटफार्म नंबर 12 में किसी से बात करते देखा तो उनका माथा ठनका। वह किशोरी को तत्काल बाल कल्याण समिति (सीडब्ल्यूसी) के बूथ पर लेकर पहुंचे। सीडब्ल्यूसी के स्टाफ ने किशोरी के बारे में पुलिस चौकी में सूचना दी और उसे बाल कल्याण गृह ले गए। साथ ही उसका प्रारंभिक मेडिकल कराया गया। यहां 04 दिन किशोरी की काउंसलिंग की गई। किशोरी की मानसिक दशा ठीक न होने पर काउंसलिंग में काफी कठिनाई हुई। काउंसलिंग की कई प्रक्रिया के बाद किशोरी ने आपबीती सुनाई। तब जाकर स्पष्ट हो पाया कि उसके साथ सामूहिक दुष्कर्म किया गया है।

शनिवार को सीडब्ल्यूसी ने इसकी रिपोर्ट पटेलनगर कोतवाली पुलिस को दी। मामला जब वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह के संज्ञान में आया तो उन्होंने इसे गंभीरता लेते हुए पटेलनगर कोतवाली के प्रभारी निरीक्षक कमल कुमार लुंठी को दिशा निर्देश जारी किए। रविवार को एसएसआइ मनमोहन नेगी व चौकी प्रभारी आइएसबीटी देवेश खुगशाल ने टीम सहित सीसीटीवी फुटेज व गार्ड के बयान से पांचों आरोपितों की पहचान कर सभी को गिरफ्तार कर लिया। जिस बस में किशोरी से सामूहिक दुष्कर्म हुआ पुलिस ने उसे सीज किया। इसी कड़ी में एसआईटी के गठन के साथ जांच आगे बढ़ रही है।

निगम ने यह उठाया था कदम, 02 बर्खास्त, 01 निलंबित और 02 पर आजीवन प्रतिबंध
घटना की गंभीरता को देखते हुए उत्तराखंड परिवहन निगम प्रबंधन ने आरोपित विशेष श्रेणी परिचालक देवेंद्र और चालक राजपाल को बर्खास्त कर दिया, जबकि नियमित परिचालक राजेश सोनकर को निलंबित करते हुए अनुबंधित बस चालक धर्मेंद्र और चालक रवि को निगम में काम करने पर आजीवन प्रतिबंध लगा दिया है। इसके साथ ही बसों में यात्रियों की सुरक्षा और उनके साथ व्यवहार को लेकर निगम प्रबंधन नए सिरे से समीक्षा करेगा और प्रशिक्षण भी व्यवस्था भी कर सकता है।

अब तक इन्हें किया गया गिरफ्तार
(1) धर्मेंद्र कुमार पुत्र यशपाल सिंह, निवासी ग्राम बंजारा वाला ग्रांट, थाना बुग्गा वाला, हरिद्वार, उम्र 32 वर्ष ( चालक बस संख्या – UK 07 PA 5299)
(2) देवेंद्र पुत्र फूलचंद निवासी चूडियाला, भगवानपुर, हरिद्वार उम्र 52 वर्ष ( परिचालक बस संख्या – UK 07 PA 5299)
(3) रवि कुमार पुत्र दयाराम निवासी ग्राम सिला, थाना – नवाबगंज, जिला फर्रुखाबाद, उम्र 34 वर्ष *(चालक अन्य बस)
(4) राजपाल पुत्र स्व0 किशन सिंह निवासी बंजारावाला ग्रांट, थाना बुग्गावाला, हरिद्वार, उम्र 57 वर्ष *(चालक अन्य बस)
(5) राजेश कुमार सोनकर पुत्र स्व0 लाल चंद्र सोनकर निवासी माजरा, पटेलनगर, उम्र 38 वर्ष (कैशियर रोडवेज)

गैंग रेप प्रकरण का खुलासा करने वाली पुलिस टीम
(1)- निरी. कमल कुमार लुंठी, प्रभारी निरीक्षक कोतवाली पटेलनगर,
(2)- व.उ.नि. मनमोहन नेगी, कोतवाली पटेलनगर
(3)- उ.नि. देवेश खुगशाल, चौकी प्रभारी, आईएसबीटी
(4)- उ.नि. धनीराम पुरोहित,
(5)- म.उ.नि. ज्योति कन्याल,
(6)- अ.उ.नि. डालेन्द्र चौधरी,
(7)- हे.कां. सुमित कुमार,
(8)- कां. मनोज कुमार,
(9)- कां.हितेश,
(10)- कां.अरशद,
(11)- कां. आबिद,
(12)- हे.कां. किरन कुमार, एसओजी

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