रामपुर तिराहा कांड मामले में हाइकोर्ट ने की सूर्यकांत धस्माना की अपील पर सुनवाई
उत्तराखंड आंदोलनकारियों पर फायरिंग से जुड़े इस मामले में अब 30 को सुनवाई

Amit Bhatt, Dehradun: उत्तराखंड राज्य आंदोलन के दौरान हुए बहुचर्चित रामपुर तिराहा कांड से जुड़े एक मामले में हाईकोर्ट ने वरिष्ठ कांग्रेस नेता और तत्कालीन सपा नेता सूर्यकांत धस्माना की अपील पर सुनवाई की। यह मामला वर्ष 1994 में हुए गोलीकांड से संबंधित है, जिसमें एक आंदोलनकारी की मृत्यु हो गई थी और दो अन्य घायल हुए थे।
शनिवार को उत्तराखंड हाईकोर्ट की मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति जी. नरेंद्र और न्यायमूर्ति सुभाष उपाध्याय की खंडपीठ ने इस मामले में सुनवाई करते हुए अगली तारीख 30 अगस्त नियत की है। हाईकोर्ट में यह मामला सीबीआई द्वारा दायर उस अपील के तहत लंबित है, जिसमें देहरादून की विशेष सीबीआई अदालत के फैसले को चुनौती दी गई है।
प्रकरण के अनुसार, 2 अगस्त 1994 को मुजफ्फरनगर के रामपुर तिराहा पर राज्य आंदोलनकारियों पर गोली चलने की घटना के बाद, 3 अक्टूबर 1994 को कई आंदोलनकारी देहरादून स्थित सूर्यकांत धस्माना के आवास पर एकत्र हुए थे। इसी दौरान वहां हुई गोलीबारी में आंदोलनकारी राजेश रावत की मौत हो गई थी, जबकि दो अन्य घायल हुए थे। इस घटना के बाद धस्माना समेत अन्य पर मुकदमा दर्ज किया गया।
मामला विशेष सीबीआई अदालत में चला, जहां साक्ष्यों के अभाव में अदालत ने धस्माना को बरी कर दिया। इसके खिलाफ सीबीआई ने वर्ष 2012 में हाईकोर्ट में अपील दायर की थी, जो अब तक विचाराधीन है।
हाईकोर्ट के नवीन रोस्टर के तहत शनिवार को इस मामले की दोबारा सुनवाई हुई, जिसमें कोर्ट ने 30 अगस्त को अंतिम सुनवाई के लिए तिथि निर्धारित की है। अब निगाहें उस दिन के निर्णय पर टिकी हैं, जब यह स्पष्ट हो सकेगा कि यह मामला कौन-सी दिशा लेता है।