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उत्तरकाशी के सिलक्यारा में नितिन गडकरी ने सुरंग के अंदर जानी रेस्क्यू आपरेशन की प्रगति

सिलक्यारा की ओर से श्रमिकों को निकालने का प्रयास जारी, श्रमिकों का इंतजार हुआ लंबा

Dehradun: केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी बचाव अभियान की समीक्षा करने के बाद सुरंग में निरीक्षण के लिए पहुंचे। सुरंग के अंदर 80 मीटर तक पहुंचने के बाद उन्होंने वहां मौजूद अधिकारियों से बचाव अभियान के संबंध में जानकारी ली। वह इससे आगे नहीं गए, क्योंकि सुरंग में 90 मीटर से लेकर भूस्खलन स्थल 203 मीटर तक डेंजर जोन होने के चलते ह्यूम पाइप के जरिये ही आवाजाही हो रही है। सुरक्षा के दृष्टिगत वे वहीं से निरीक्षण कर वापस लौट आए। श्रमिकों की जान बचाना सर्वोच्च प्राथमिकता: केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी और मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने रविवार को सुरंग में फंसे श्रमिकों के स्वजन से भी मुलाकात की। केंद्रीय मंत्री ने उन्हें भरोसा दिलाया कि सरकार पूरी ताकत और जिम्मेदारी के साथ रेस्क्यू अभियान को अंजाम दे रही है। अभियान में शुरुआती दौर की कठिनाइयों को देखते हुए अब सभी संभव विकल्पों पर एक साथ काम शुरू कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि फंसे हुए श्रमिकों की जान बचाना सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। किसी भी बेहतर संभावना वाले विकल्प के लिए कोई भी कीमत क्यों न चुकानी पड़े, सरकार इसके लिए तैयार है।

हाईपावर अमेरिकन ऑगर मशीन में आई खराबी का परीक्षण करते तकनीकी कर्मी।

राज्य के आपदा प्रबंधन सचिव रंजीत सिन्हा ने बताया कि सिलक्यारा की ओर से अमेरिकन औगर मशीन का फिर संचालन करने की तैयारी की जा रही है। इसके लिए पहले कैविटी (खोखला स्थान) वाले क्षेत्र में माइक्रो ड्रोन भेज कर भूस्खलन वाले हिस्से की स्थिति देखी जाएगी। माइक्रो ड्रोन से दूसरे क्षेत्र की भी रेकी की जा सकेगी, जिससे श्रमिकों तक पहुंचने में मदद मिलेगी। इसके लिए डीआरडीओ और आइआइटी के विशेषज्ञों का सहयोग लिया जा रहा है। श्रमिकों तक रसद व अन्य सुविधाएं पहुंचाने के लिए 125 मिमी का पाइप 43 मीटर की दूरी तक बिछाया जा चुका है।

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